सरसों का भविष्य 2024-25 : क्या रहेंगे 2024 में सरसों के दाम, MSP पर इस रेट में बिकेगी सरसों, देखे भाव नमस्कार दोस्तों, आज के हमारे इस आर्टिकल में आपका स्वागत हैं। दोस्तों रबी सीजन में गेहूं, चने के बाद सरसों की खेती सबसे अधिक होती है। अब तक प्रमुख तिलहनी फसल सरसों की बोवनी 13.80 लाख हेक्टेयर हुई है, जबकि गत वर्ष भी इतनी ही थी। इस वर्ष 14.06 लाख हेक्टेयर का लक्ष्य निर्धारित किया गया था। आम धारणा है कि जनवरी में मौसम इसी तरह अनुकूल बना रहा तब रिकॉर्ड उत्पादन होना तय माना जा रहा है। सरसों का 9.50 लाख टन का स्टॉक है।
इसलिए नई फसल आने तक आपूर्ति की कोई समस्या नहीं रहेगी। निर्यात मांग सुस्त है। इससे बाजार विशेषज्ञ यह अनुमान जाता रहे हैं कि भाव ज्यादा नहीं बढ़ पाएंगे। आईए जानते हैं इस वर्ष सरसों के भाव सरसों भाव क्या रहेंगे..
सरसों की पैदावार अच्छी होने की संभावना
जानकार वर्ग का मत है कि गत वर्ष देश में सरसों की बोवनी 97.13 लाख हेक्टेयर में हुई थी, लेकिन मौसम अनुकूल नहीं होने से उत्पादन 113 लाख टन हुआ। कृषि मंत्रालय के अनुसार अभी तक 102.38 लाख हेक्टेयर में बोवनी हो चुकी है। इसके अलावा इस वर्ष बोवनी के समय से ही मौसम अनुकूल बना हुआ है।
पौधों की बढ़त भी अच्छी है। सरसों उत्पादक सबसे बड़े राज्य राजस्थान में बोवनी 4.15 कम हुई है। इसकी एक वजह जीरे की बोवनी Mustard price बढ़ना भी हो सकती है। दूसरी और गुजरात में जीरा, सौंफ, इसबगोल के साथ केवल सरसों की बोवनी में 12.61 प्रतिशत, उत्तरप्रदेश में 32 प्रतिशत अधिक हुई है। सरसों का भविष्य 2024-25
सरसों के भाव 2024 में यह रहने की संभावना
दोस्तों नए वर्ष में सरसों का उत्पादन गत वर्ष से काफी अधिक हो सकता है, बशर्ते मौसम अनुकूल बना रहे। एक अनुमान के अनुसार नए सीजन में 125 लाख टन या इससे भी अधिक उत्पादन की संभावना है। नए सीजन में सरसों की MSP 5650 रुपए है।
सहकारी संस्थाओं द्वारा बड़ी मात्रा में खरीदी नहीं किए जाने के बाद MSP से नीचे बिकना लगभग तय है। इसकी और बड़ी वजह खाद्य तेलों के भाव काफी निचले स्तर पर आ गए हैं। इससे भी सरसों सस्ती बिक सकती है। छावनी मंडी में सोयाबीन 4500-4800, सरसों निमाड़ी 6200-6400, राइडा 5000 रुपये प्रति क्विंटल के भाव बताए गए।
अब तक MP में रबी फसलों की यह हुई बोवनी
MP में अब तक 227.33 लाख हेक्टेयर में हुई बोवनी अब तक प्रमुख तिलहनी फसल सरसों की बोनी 13.80 लाख हेक्टेयर में हुई है जबकि गत वर्ष भी इतनी ही थी। इस वर्ष 14.06 लाख हेक्टेयर लक्ष्य रखा गया है। चालू रबी सीजन में गत वर्ष की तुलना में बुवाई में तेजी देखी गई। अब तक लगभग 127.33 लाख हेक्टेयर में बोवनी हो गई है। जबकि गत वर्ष इस अवधि में 125 लाख 72 हजार हेक्टेयर में बोनी हुई थी।
कृषि विभाग के मुताबिक प्रदेश में रबी फसलों का सामान्य क्षेत्र 133 लाख 82 हजार हेक्टेयर है। इस वर्ष 140.26 लाख हेक्टेयर में रबी फसलें ली जाएंगी। कृषि विभाग के अनुसार अब तक 127.35 लाख हेक्टेयर में बोनी कर ली गई है। इसमें एमपी की प्रमुख रबी फसल गेहूं की बोवनी 78.45 लाख हेक्टेयर में हुई है। जबकि गत वर्ष अब तक 80.32 लाख हे. में गेहूं बोया गया था। इस वर्ष राज्य में 90.71 लाख हेक्टेयर गेहूं बोने का लक्ष्य रखा गया है। सरसों का भविष्य 2024-25
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दूसरी प्रमुख फसल चने की बोवनी अब तक 22.29 लाख हेक्टेयर में हो गई है जो गत वर्ष समान अवधि में 20.30 लाख हे. में हुई थी। अन्य फसलों में अब तक मटर 2.70 लाख हे. में, मसूर 7.55 लाख हे. में बोई गई है, जबकि मसूर का लक्ष्य 7.08 हेक्टेयर रखा गया है।
इस प्रकार मसूर की बोनी शत-प्रतिशत हो गई है। राज्य में तिलहनों की बुवाई में कमी आई है। वहीं अलसी की बोनी 1.21 लाख हेक्टेयर में हुई है। इस वर्ष गन्ना 1.42 लाख हेक्टेयर में लिया जायेगा, अब तक 80 हजार हेक्टेयर में बोनी हो गई है। प्रदेश में अब तक कुल अनाज फसलें 78.98 लाख हेक्टेयर में, दलहनी फसलें 32.54 लाख हेक्टेयर में एवं तिलहनी फसलें 15.01 लाख हेक्टेयर में बोई गई हैं । सरसों का भविष्य 2024-25
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